Sunday 6 February 2022

नमन

हे ! वाग्देवी की मानसपुत्री
वरदत्त थी वरदत्त रहोगी।
अमर काल की 
अमर यात्रा में,
अनन्त काल तक 
अमर रहोगी।
 श्रद्धाञ्जलि।

7 comments:

  1. वो खुद संगीत थी और संगीत कभी नहीं मरता।
    नमन।

    समय साक्षी रहना तुम by रेणु बाला

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  3. अश्रुपूरित नमन स्वर साम्राज्ञी को 🙏😞🙏😞🙏😞🙏🙏

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